उत्तराखंडदेहरादून

डॉक्टर मनोहर लाल टीचर्स आइकॉन अवार्ड 2025 से सम्मानित

शिक्षण क्षेत्र में जौनसार बाबार का कर रहे हैं नाम रोशन।

बचपन के दोनों को करते हैं सदैव याद किस प्रकार से शिक्षा के मोहताज रहे हैं डॉक्टर मनोहर।

उदघोष:शिक्षा का नया सवेरा व हरिद्वार यूनिवर्सिटी के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित शिक्षक सम्मान समारोह में देश के विभिन्न राज्यो से आए 145 शिक्षको को “टीचर्स आईकन एवार्ड” तथा 20 शिक्षको को उनकी उल्लेखनीय शैक्षिक उपलब्धियों के दृष्टिगत “शिक्षाश्री” एवार्ड दिया गया।

शिक्षा के क्षेत्र में नवाचार कार्य करने वाले संपूर्ण भारतवर्ष से राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के परिपेक्ष में, शिक्षा की गुणवत्ता एवं सलीकरण, संस्कार एवं व्यवहारिक जीवन के लिए महत्वपूर्ण नवोन्मेषी शिक्षा पर आधारित नवीन शिक्षण पद्धति, पर कार्य करने वाले उत्कृष्ट शिक्षकों को सम्मानित किया गया।

शिक्षक मनोहर लाल वर्ष 2004 से लगातार शिक्षा के क्षेत्र में ग्रामीण परिवेश तथा आर्थिक रूप से कमजोर तथा बालिका शिक्षा हेतु निरंतर कार्य कर रहे हैं।
प्रतियोगिता परीक्षा, विभिन्न छात्रवृतियां एवं व्यावसायिक क्षेत्र में छात्र-छात्राओं के लिए परामर्श एवं मार्गदर्शक के रूप में कार्य कर रहे हैं।
आर्थिक रूप से कमजोर छात्र-छात्राओं के लिए वह अपने वेतन से लेखन सामग्री एवं पाठ्य पुस्तक उपलब्ध करवाते हैं।
इस कार्यक्रम में
मुख्य अतिथि
कर्नल अजय कोठियाल (सेवा निवृत्त) कीर्ति चक्र, शौर्य चक्र, विशिष्ट सेवा मेडल,

विशिष्ट अतिथि पद्‌मश्री डा. प्रेम चन्द शर्मा , ऑर्गेनिक कृषि के क्षेत्र में विशिष्ट उपलब्धि

विशिष्ट अतिथि पद्‌म श्री कल्याण सिंह रावत (सेवानिवृत्त शिक्षक व मैती आन्दोलन के प्रणेता)

विशिष्टअतिथि शिक्षाविद्,साहित्यकार डॉ.नंद किशोर हटवाल , साहित्यकार कवि ,फिल्मकार,

विशिष्ट अतिथि पद्‌मश्री सेठ पाल सिंह(नवोन्मेषी कृषक)

अध्यक्षता सी.ए. एस. के. गुप्ता (अध्यक्ष : हरिद्वार यूनिवर्सिटी, रूड़की) आदि उपस्थित थे।

कर्नल अजय कोठियाल (सेवा निवृत्त) कीर्ति चक्र, शौर्य चक्र, विशिष्ट सेवा मेडल ने कहा कि युवाओं के विकास में शिक्षा और कौशल अहम् भूमिका निभाते हैं। शिक्षा युवाओं के विकास के पथ में महत्वपूर्ण सोपान है क्योंकि यह समाज और अर्थव्यवस्था को आकार देती है। युवाओं को एक उच्च गुणवत्ता वाली,संस्कारयुक्त शिक्षा की आवश्यकता होती हैं जो उन्हें जीवन के महत्वपूर्ण व्यवसायिक कौशल सिखाती है एवं उनके समग्र विकास में सहायक होती है।
उन्होने कहा कि
शिक्षक राष्ट्र की संस्कृति के चतुर माली होते हैं। वे हमारी भावी पीढी में संस्कारों की जड़ों में खाद देते हैं और अपने श्रम से सींचकर उन्हें शक्ति में निर्मित करते हैं।
कर्नल अजय कोठियाल रविवार को कैनाल रोड स्थित हरिद्वार यूनिवर्सिटी में आयोजित चतुर्थ अ.भा. शैक्षिक विमर्श एवं शिक्षक सम्मान समारोह में बतौर मुख्य अतिथि बोल रहे थे।कार्यक्रम का सफल संचालन संयोजक संजय वत्स और अर्चना पांडे द्वारा संयुक्त रूप से किया!

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